as per ABP :
नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की तीन दिवसीय रुस यात्रा से पहले रक्षा मंत्रालय ने आज एक अहम रक्षा सौदे को हरी झंड़ी दे दी. रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर की अध्यक्षता वाली रक्षा खरीद परिषद ने रूस से एयर-स्पेस की सुरक्षा करने वाली एस-400 मिसाइल रक्षा प्रणाली को खरीदने की मंजूरी दे दी. 23 दिसंबर को मोदी रूस के लिए रवाना हो रहे हैं. खास बात ये है कि हाल ही रशिया ने इस मिसाइल सिस्टम को सीरिया में तैनात किया था जब तुर्की ने रशिया का एक लड़ाकू विमान मार गिराया था.
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अगले हफ्ते रशिया के दौरे पर जाने वाले हैं. उनकी इस यात्रा के दौरान इस अहम रक्षा सौदे पर हस्ताक्षार होने की पूरी संभावना है.हालांकि इस सौदे की कीमत अभी तय नहीं हुई है. लेकिन, सूत्रों की मानें तो इस डील की कीमत करीब 30-32 हजार करोड़ रुपये है. भारत एस-400 मिसाइल की 05 (पांच) फायरिंग यूनिट रशिया से खरीदेगा. भारतीय वायुसेना इस मिसाइल सिस्टम का इस्तेमाल करेगी.
एस-400 मिसाइल लंबी दूरी तक हमारे हवाई सुरक्षा करने में कारगर साबित होगी. इस मिसाइल सिस्टम की दूरी करीब 400 किलोमीटर है. यानि अगर दुश्मन की मिसाइल हमारे किसी विमान या संस्थान पर हमले करने की कोशिश करेगी तो ये मिसाइल सिस्टम वक्त रहते ही उसे नेस्तानबूत करने में सक्षम साबित होगी. ये एंटी-बैलिस्टक मिसाइल है. यानि आवाज की गति से भी तेज रफ्तार से ये हमला बोल सकती है.
यहां ये बात भी विदित है कि जब से रशिया ने सीरिया में आईएसआईएस के खिलाफ जंग में एस-400 प्रणाली को लगाया है. कोई भी मिसाइल या लड़ाकू विमान तो दूर नागरिक-विमान भी इस क्षेत्र से दूर उड़ रहे हैं. इस कदर एयर-स्पेस में इस एयर-डिफेंस मिसाइल का खौफ है. गौरतलब है कि चीन ने भी इस मिसाइल सिस्टम की खूबी को देखते हुए हाल ही में रशिया से इस प्रणाली को खरीदा है.
इसके अलावा रक्षा खरीद परिषद ने एयरफोर्स के लिए 24 पिचोरा एयर-डिफेंस मिसाइल खरीदने की मंजूरी दे दी. पिचोरा मिसाइल की कीमत करीब 1200 करोड़ है. पिचोरा भी रशियन मिसाइल है जो कम दूरी (25-30 किलोमीटर) के लिए इस्तेमाल की जाती है. भारतीय वायुसेना पहले से ही पिचोरा मिसाइल इस्तेमाल कर रही है.
रक्षा खरीद परिषद ने इसके अलावा थलसेना के लिए 6 अतिरिक्त पिनाका मिसाइल रेजीमेटं तैयार करने की अनुमति दे दी है. इन रेजीमेंट के लिए एलएंडटी, टाटा-पॉवर और बीईएमएल से ये पिनाका मिसाइल खरीदने का प्रवधान है. इन मिसाइलों की कुल कीमत 14हजार 600 करोड़ रुपये है. इसके अलावा नौसेना के लिए 05 फ्लीट सपोर्ट शिप खरीदने की मंजूरी दी गई.
साथ ही काउंटर-टेरिरज्म के लिए सेना को 571 बुलेट-प्रूफ गाड़ियां खऱदीने की मंजूरी दी गई है. कुल मिलाकर रक्षा खरीद परिषद ने मेक इन इंडिया के तहत करीब 25 हजार करोड़ रुपये के सैन्य साजो-सामान को खरीदने की मंजूरी दी. इसके अलावा 30 हजार करोड़ की एस-400 मिसाइल सिस्टम ग्लोबल टेंडर के तहत रशिया से खरीदी जायेगी.
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