--
-- --
--
-- Sponsored Links:-
-- --
--
पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई का फंड मैनेजर इलाहाबाद में अड्डा
जमाए रहा और सुरक्षा एजेंसियों को दो साल तक पता नहीं चला। इलाहाबाद से ही
उसने तीन बार पाकिस्तान के जासूस को रकम भेजी। यह जासूस राजस्थान में
सक्रिय था और पाकिस्तान को भारत की खुफिया जानकारियां दे रहा था। एटीएस ने
लखनऊ में गिरफ्तार किया तो इलाहाबाद से उसके रिश्ते का भेद खुला।
गाजीपुर निवासी जमालुद्दीन को यूपी एटीएएस ने 24 अगस्त को लखनऊ से गिरफ्तार किया है। राजस्थान की क्राइम ब्रांच ने उसके बारे में सुराग दिया था। राजस्थान पुलिस को सबसे पहले जैसलमेर में सक्रिय आईएसआई एजेंट पटवारी गोरधन सिंह का पता चला। उसकी छानबीन में रिश्ते इलाहाबाद से जुड़ते नजर आए। पता चला कि गोरधन के खाते में इलाहाबाद के मीरगंज की स्टेट बैंक ऑफ बीकानेर (जयपुर) शाखा से तीन बार रकम भेजी गई है। गोरधन सिंह से पूछताछ में पता चला कि गाजीपुर निवासी जमालुद्दीन उसे पैसे भेज रहा था। वह उत्तर भारत में आईएसआई का फंड मैनेजर है। इसके बाद यूपी एटीएएस और राजस्थान सीआईडी की संयुक्त टीम ने 24 अगस्त को उसे लखनऊ से गिरफ्तार किया है।
गाजीपुर निवासी जमालुद्दीन को यूपी एटीएएस ने 24 अगस्त को लखनऊ से गिरफ्तार किया है। राजस्थान की क्राइम ब्रांच ने उसके बारे में सुराग दिया था। राजस्थान पुलिस को सबसे पहले जैसलमेर में सक्रिय आईएसआई एजेंट पटवारी गोरधन सिंह का पता चला। उसकी छानबीन में रिश्ते इलाहाबाद से जुड़ते नजर आए। पता चला कि गोरधन के खाते में इलाहाबाद के मीरगंज की स्टेट बैंक ऑफ बीकानेर (जयपुर) शाखा से तीन बार रकम भेजी गई है। गोरधन सिंह से पूछताछ में पता चला कि गाजीपुर निवासी जमालुद्दीन उसे पैसे भेज रहा था। वह उत्तर भारत में आईएसआई का फंड मैनेजर है। इसके बाद यूपी एटीएएस और राजस्थान सीआईडी की संयुक्त टीम ने 24 अगस्त को उसे लखनऊ से गिरफ्तार किया है।
-- Sponsored Links:-
0 comments:
Post a Comment