शत्रुघ्न : बनें देश के राष्ट्रपति, अमिताभ मिलेनियम स्टार

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अपने बयानों से मोदी सरकार को कई बार असहज कर चुके प्रसिद्ध फिल्म अभिनेता और भाजपा सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने रविवार को कहा कि भाजपा ही उनकी पहली और आखिरी पार्टी है। 

नाराजगी के सवालों पर खामोश रहे शत्रुघ्न सिन्हा ने रविवार को आगरा में अपनी पुस्तक ‘एनीथिंग बट खामोश’ पर हुई परिचर्चा में कहा कि मंत्री पद नहीं मिला तो यह नहीं कहूंगा कि अच्छे दिन नहीं आए हैं। जेएनयू मुद्दे पर वह अब नहीं बोलेंगे। ताज लिटरेचर फेस्टिवल में आए सिन्हा कई सवालों के जवाब हंसी में टाल गए तो कई सवालों में मोदी सरकार के प्रति नरम भी दिखे। 

बिहार चुनाव परिणाम के बाद से नेतृत्व पर बार-बार हमले कर रहे शत्रुघ्न ने कहा कि मैं बहुत आशावादी हूं, सिर्फ मंत्री पद नहीं मिलने पर ये नहीं कहूंगा कि अच्छे दिन नहीं आए हैं। जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय पर कुछ नहीं बोलेंगे, क्योंकि अब यह न्यायिक मामला है। 

अपनी जीवनी पर चर्चा के दौरान उठे सवाल पर कहा कि फिल्मों के मुकाबले राजनीति में पावर और ग्लैमर दोनों है। फिल्मों में नाम, शोहरत है, लेकिन राजनीति तो तलवार की धार है। स्ट्रगल और रिस्क कहीं ज्यादा है। हर समय कांच के घर में रहना पड़ता है। 20 सालों की पावर पालिटिक्स की है, इसलिए इसे समाजसेवा के रूप में लेता हूं।

शत्रुघ्न सिन्हा ने अमिताभ के साथ अपने विवादों पर खुलकर कहा कि संघर्ष के दिनों में अमिताभ से तकरार भी हुई, लेकिन कभी प्यार भी था। अब मेरे दिल में कोई खटास नहीं, बल्कि प्यार है। 

अमिताभ केवल महान कलाकार ही नहीं, बल्कि 100 सालों के सिनेमा इतिहास में वह पर्सनालिटी आफ मिलेनियम हैं। अमिताभ बच्चन आज जिस मुकाम पर हैं, उसके बाद उन्हें वह देश के राष्ट्रपति के रूप में देखना चाहते हैं। 

यादों में डूबे सिन्हा ने कहा कि एंग्री यंग मैन का टाइटिल सबसे पहले शोभा डे ने उन्हें दिया था। एफटीटीआई, पुणे में एंग्री यंग मैन फिल्म के वह नायक थे और नायिका जया बच्चन, लेकिन जया की शादी अमिताभ से हुई तो यह टाइटिल भी मेरी जगह अमिताभ को शिफ्ट हो गया।

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